शून्य
मै सत्य हूं असत्य भी मै मै ईश हूं और नाश भी मै मै ज़िन्दगी का मूल हूं मानव का एक शूल भी मै मै वरदान भी हूं मानव का श्राप भी मै मै शून्य हूं मै लौकिक भी हूं मै अलौकिक भी मै मै ब्रह्म भी हूं शंकर भी मै मै आज भी हूं और मानव तेरा कल भी मै मै शून्य हूं मै पूर्ण भी हूं अपूर्ण भी मै मै गुनक होके एक सकल रूप दूं मुझे से विभाजित होके मानव तेरा एक अलौकिक स्वरूप बनूं मै ही परब्रह्म हूं हां मै ही शून्य हूं